अविपत्तिकर चूर्ण के फायदे और नुकसान अधिकतर बीमारियां पेट से शुरू होती है। इसलिए पेट को फिट रखना बहुत जरुरी होता है। यदि आप पेट की किसी बीमारी से ग्रस्त है तो अविपत्तिकर चूर्ण इसमें आपकी मदद कर सकता है। यह आयुर्वेदिक औषधि होती है जिसका उपयोग , एसिडिटी, कब्ज, मितली आदि में किया जाता है। इस आर्टिकल जानिए avipattikar churna uses in hindi
पेट के लिए अविपत्तिकर चूर्ण के फायदे - avipattikar churna benefits in hindi
यह इन समस्याओं में फायदेमंद है
- सीने की जलन में
- शरीर के ख़राब टॉक्सिन्स को निकाले
- पेट फूलना
- मल ठीक से ना होना
- आंतों के इंफेक्शन में
- आंतों की सूजन
- मितली आने की समस्या
- आंत के अल्सर
- गैस्ट्रोइंटेस्टाइनल डिजीज
- पेट में एसिड बनने की समस्या
- भूख ना लगना
अविपत्तिकर चूर्ण कैसे बनता है - how to make avipattikar in hindi
इसे बनाने के लिए पिप्पली, त्रिफला, आंवला, हरड़, तेज पत्ता, त्रिकटु, सोंठ, बायबिड़ग, लौंग, विड नमक, निशाेथ व मिश्री का इस्तेमाल किया जाता है। सभी चीज़ो को 10-10 gm के हिसाब से लें।
इसके बाद 660 ग्राम मिश्री और 440 gm निशोथ ले। अब सबको अच्छे से मिलाकर छोटे कंटेनर में रख लें।
ये सभी चीज़े औषधि की तरह शरीर के लिए फायदेमंद होती है। यह शरीर के ख़राब टोक्सिन को बहार निकालती है जिससे बॉडी डेटॉक्स होती है और उन पदार्थो को भोजन से सोखती है जो शरीर के लिए जरुरी है।
अविपत्तिकर चूर्ण खाने का तरीका - how to use avipattikar churna in hindi
इस चूर्ण को गुनगुने पानी के साथ लें। कितनी मात्रा में लेना है यह आपकी बीमारी पर निर्भर करता है। इसलिए पहले डॉक्टर से सलाह लें।
अविपत्तिकर के नुकसान
एक दिन में 10 gm से अधिक न खाये अन्यथा नुकसान कर सकता है ।
निष्कर्ष
यहाँ पर अविपत्तिकर चूर्ण के फायदे, नुकसान और बनाने की विधि बताई गयी है लेकिन बिना आयुर्वेदिक चिकित्सक के परामर्श के बिना इसकी खुराक न लें।